अचानक दरवाजा खटखाने की आवाज़ और फिर..... आखिर क्यों ग्रेटर नोएडा में हॉस्टल छोड़ने को मजबूर हुई लड़कियां? 

आपके भी घर के दरवाजे पर हुई अंजान दस्तक के बाद जैसे ही आप उसे खोलते हो लेकिन बाहर कोई नहीं दिखाई देता जब आपकी हालत क्या होगी? आखिरकार इस परिस्थिति में हर कोई डर ही जाएगा. दरअसल ग्रेटर नोएडा से एक ऐसा मामला सामने आया है. जहां बीते कुछ समय से कुमारी मायावती गवर्नमेंट गर्ल्स पॉलिटेक्निक कॉलेज में रह रही लड़कियों को अपनी सुरक्षा का डर सताने लगा है. 

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Courtesy: Social Media

आपके भी घर के दरवाजे पर हुई अंजान दस्तक के बाद जैसे ही आप उसे खोलते हो लेकिन बाहर कोई नहीं दिखाई देता जब आपकी हालत क्या होगी? आखिरकार इस परिस्थिति में हर कोई डर ही जाएगा. दरअसल ग्रेटर नोएडा से एक ऐसा मामला सामने आया है. जहां बीते कुछ समय से कुमारी मायावती गवर्नमेंट गर्ल्स पॉलिटेक्निक कॉलेज में रह रही लड़कियों को अपनी सुरक्षा का डर सताने लगा है. 

172 छात्राएं अपने घर वापस लौटी

बादलपुर थाना क्षेत्र में स्थित कुमारी मायावती गवर्नमेंट गर्ल्स पॉलिटेक्निक कॉलेज में रहने वाली 187 में छात्राओं में से 172 छात्राओं को अपनी सुरक्षा की चिंता है. 172 छात्राएं इस समय अपना हॉस्टल छोड़कर वापस घर लौट आई हैं. लड़कियों ने एक समूह द्वरा कथित रूप से देर रात कैंपस में घुसने का आरोप लगाया गया. लड़कियों ने इसे लेकर कैंपस में विरोध प्रदर्शन भी किया. लड़कियों ने यह भी बताया कि बीते कुछ दिनों में यह समूह कई बार हॉस्टल में घुस चुका है.

असुरक्षित महसूस करती हैं छात्राएं

लड़कियों ने न जानकारी देते हुए बताया कि घटना के बाद से वह काफी ज्यादा डर चूकी है. बाहरी समूह द्वारा घुसकर कमरों का दरवाजा खटखटाने से वह खुद को असुरक्षित महसूस कर रही थी "हम सभी लड़कों के इस गैंग से काफी डर गई थी. ज्यादातर लड़कियां 25 से 40 की उम्र की हैं. जो खिड़कियों से झाँक कर बाहर के हालातों को देख रही थी. जब हम चिल्ला रही थीं तो हमारी मदद करने व आवाज सुनने वाला कोई नहीं था. 

गोरखपुर की लड़की ने कहा- रात भर जागकर निगरानी करती हैं लड़कियां

हॉस्टल से अपने घर गोरखपुर वापस आई छात्रा ने बताया कि वह 2nd इयर में पढ़ती है. उसके साथ दूसरा कोर्स करने वाली कई लड़कियां भी है, इस तरह की घटना पहले भी कई बार हो चुकी है. छात्राएं अपनी सुरक्षा को लेकर इतनी डर जाती हैं कि अगर कभी किसी को देर रात शौचालय जाना होता है तो भी वह नहीं जा पाती. इस दौरान तकरीबन 15 लड़कियां तो एक दूसरे कमरे रहकर रातभर जागकर निगरानी करती हैं. उनके साथ रह रही एक अन्य लड़की भी अपने घर अलीगढ़ वापस चली गई हैं

इसमें 4 सुरक्षा गार्ड करते हैं सुरक्षा

कॉलेज अधिकारी ने बताया कि परिसर में 4 छात्रावास हैं. 22 साल पहले खुले इस कॉलेज में कभी भी सुरक्षा को लेकर कोई परेशानी नहीं आई हैं. इसमें 4 सुरक्षा गार्ड हैं. दिन में 2 व रात में 2 गार्ड अपनी शिफ्ट में रहते हैं. अगर उनमें से एक भी छुट्टी पर चला जाए, तो सिक्योरिटी को लेकर समस्या आना आम बात है. 

आखिर रात में कौन करेगा काम

सरकारी आवासीय कॉलेज में पदों का चयन केवल शिक्षा विभाग करता है. कॉलेज जब शुरु हुआ तब 1 छात्रावास था, लेकिन अब 4 हो गए. ऐसे में परिसर की सुरक्षा के लिए 12 गार्ड और छात्रावास वार्डन के लिए लोगों की आवश्यकता है. कॉलेज शिक्षक ने टाइम्स ऑफ इंडिया को यह भी जानकारी दी कि- विकल्प के तौर पर शिक्षकों को रात में छात्रावास वार्डन का काम करने के लिए कहा गया था, लेकिन दिन में कक्षाएं लेने के बाद 24 घंटे काम कौन करना चाहेगा? इस कार्य के लिए कोई अतिरिक्त पारिश्रमिक भी नहीं है.

महज 6 कैमरे ही चालू 

कॉलेज प्रबंधन ने बताया कि परिसर में 16 सीसीटीवी कैमरे लगाने का प्रस्ताव है. अभी महज 10 ही लगाए गए हैं. लेकिन उसमें में भी महज 6 कैमरे ही चालू हैं। छात्रों का कहना है कि उन्होंने कई बार परिसर में ड्रोन भी देखे हैं। छात्राओं की माने तो कुछ लोग उनकी जासूसी कर रहे हैं. छात्राओं ने यह भी कहा है कि- हम तभी वापस आएंगे जब हमारी सुरक्षा सुनिश्चित हो जाएगी. लिहाजा सुरक्षा के मद्देनजर कॉलेज परिसर के आस-पास सुरक्षा को बड़ा दिया गया है. 

डीएम ने मामले में कही यह बात 

मामले की जानकारी डीएम मनीष कुमार को भी मिली. डीएम ने कहा है कि जिला विद्यालय निरीक्षक (DIOS) और अन्य शिक्षा विभाग के अधिकारियों को छात्रावासों का निरीक्षण करने के बाद एक रिपोर्ट तैयार करने के लिए कहा गया है. उन्होंने कहा, कि सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए जल्द से जल्द आवश्यक कदम उठाए जाएंगे.