Delhi Assembly Election: अगले साल दिल्ली में विधानसभा चुनाव होना है, उससे पहले आम आदमी पार्टी के अध्यक्ष ने बड़ा ऐलान किया है. उन्होंने इस चुनाव को लेकर कहा, ' आम आदमी पार्टी दिल्ली चुनाव अकेले लड़ेगी. उन्होंने कांग्रेस के साथ गठबंधन की संभावना को खारिज कर दिया है.
सोशल मीडिया एक्स पर किया पोस्ट
बता दे, अरविंद केजरीवाल ने पहले भी इस बात कि पुष्टि की थी की वो दिल्ली चुनाव अकेले लड़ने वाले है.आज उन्होंने इसकी बात को दोहराया है.कांग्रेस से गठबंधन के सवाल पर उन्होंने कहा कि इस बात की कोई संभावना नहीं है.अरविंद केजरीवाल ने अपनी एक्स पर लिखा, "आम आदमी पार्टी दिल्ली में अपने बलबूते पर चुनाव लड़ेगी.कांग्रेस के साथ गठबंधन की कोई संभावना नहीं है।" ऐसी खबरें हैं कि दिल्ली चुनाव से पहले उनकी पार्टी विपक्ष के इंडिया ब्लॉक के अन्य सहयोगियों के साथ सीट बंटवारे पर बातचीत कर रही है।
दरअसल, यह पहली बार नहीं है जब आप नेता ने दिल्ली में गठबंधन की संभावना को खारिज किया है.इस चुनाव के तारीखों के ऐलान के तुरंत बाद भी अरविंद केजरीवाल ने यह स्पष्ट किया था कि पार्टी का दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए गठबंधन बनाने की कोई योजना नहीं है, क्योंकि उनका लक्ष्य लगातार तीसरा कार्यकाल हासिल करना है.केजरीवाल के तरफ से ये बयान उस समय आया है, जब एक रिपोर्ट में कहा गया कि कांग्रेस और आप दिल्ली चुनाव गठबंधन के लिए बातचीत के अंतिम चरण में हैं।
Aam aadmi party will be fighting this election on its own strength in Delhi. There is no possibility of any alliance with congress. https://t.co/NgDUgQ8RDo
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) December 11, 2024
सोमवार को आम आदमी पार्टी ने दिल्ली चुनाव के लिए 20 उम्मीदवारों की दूसरी सूची जारी की है.इस लिस्ट में आम आदमी पार्टी के बड़े नेता मनीष सिसोदिया का पटपड़गंज से टिकट काट दिया गया है.इस बार उनको पटपड़गंज की जगह जंगपुरा निर्वाचन क्षेत्र से टिकट दिया गया है.इस चुनाव में अवध ओझा पटपड़गंज से चुनाव लड़ेंगे.आम आदमी पार्टी ने अपनी दूसरी सूची में 17 मौजूदा विधायकों के टिकट काट दिए हैं.उन सीटों पर इस बार नए लोगों को मौका मिला है.
तीन बड़े नाम फिर शामिल
हालांकि, तीन जाने-पहचाने नाम फिर से नामांकित किए गए हैं, जिसमे मनीष सिसोदिया और राखी बिड़ला, दोनों मौजूदा विधायक, साथ ही दीपू चौधरी, एक पूर्व उम्मीदवार जो पिछला चुनाव हार गए थे.दिल्ली में लगातार 15 साल तक सत्ता में रही कांग्रेस ने पिछले दो विधानसभा चुनावों में खराब प्रदर्शन किया है और एक भी सीट जीतने में विफल रही है.दिल्ली में विधानसभा चुनाव 2025 की शुरुआत में ही होने की आशंका जताई जा रही है.वही, बात 2020 के विधानसभा चुनाव की करें तो AAP ने 70 में से 62 सीटें जीती और BJP को केवल 8 सीटें हासिल हुई थी.