गौतम अडानी और सागर अडानी पर क्या है आरोप? मुकुल रोहतगी, महेश जेठमलानी ने किया बचाव 

Gautam Adani Group: आज बुधवार को एशिया के सबसे अमीर कंपनी में से एक अडानी समूह ने बुधवार को अपने चेयरमैन गौतम अडानी, उनके भतीजे सागर अडानी और मुख्य कार्यकारी विनीत जैन के खिलाफ अमेरिका में लगे रिश्वतखोरी और FCPA का उल्लंघन के आरोपों का नकारा और इसका खंडन किया.

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Gautam Adani Group: आज बुधवार को एशिया के सबसे अमीर कंपनी में से एक अडानी समूह ने बुधवार को अपने चेयरमैन गौतम अडानी, उनके भतीजे सागर अडानी और मुख्य कार्यकारी विनीत जैन के खिलाफ अमेरिका में लगे रिश्वतखोरी और FCPA का उल्लंघन के आरोपों का नकारा और इसका खंडन किया.

ये सभी आरोप उनके ऊपर अमेरिका ने लगाया है. अडानी कंपनी ने साफ कर दिया कि उसके चेयरमैन गौतम अडानी, सागर अडानी और विनीत जैन पर FCPA की ओर से कोई आरोप नहीं लगाया गया है. उन्होंने सभी को गलत बताते हुए उसे खारिज कर दिया. 

आखिर क्या है पूरा मामला 

अडानी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड ने इस मामले में बड़ा खुलासा किया है साथ ही अपना स्टैंड क्लियर किया है. उन्होंने कहा," गौतम अडानी, सागर अडानी और विनीत जैन पर किसी भी प्रकार का कोई आरोप अमेरिका द्वारा नहीं लगाया गया है. ये सभी आरोप लगत है, ऐसे कोई भी आरोप इन लोगों पर नहीं लगा है. 

अभियोग में अधिकारियों पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने सौर ऊर्जा अनुबंध हासिल करने के लिए भारतीय अधिकारियों को 265 मिलियन अमेरिकी डॉलर की रिश्वत देने की योजना में भाग लिया था, जिससे उन्हें 20 वर्षों में 2 बिलियन अमेरिकी डॉलर का मुनाफ़ा होता. हालाँकि, अडानी समूह ने इन आरोपों का स्पष्ट रूप से खंडन किया है और कहा है कि वह अपने बचाव के लिए सभी आवश्यक कानूनी उपाय करेगा.

किसी भी प्रकार का मानदंड तय नहीं

फाइलिंग में स्पष्ट किया गया है कि शिकायत में जुर्माने या दंड की कोई मात्रा निर्दिष्ट नहीं की गई है. कंपनी ने कहा, "हालांकि शिकायत में प्रतिवादियों को नागरिक मौद्रिक दंड का भुगतान करने का निर्देश देने का आदेश मांगा गया है, लेकिन इसमें राशि की मात्रा निर्दिष्ट नहीं की गई है." मुकुल रोहतगी, महेश जेठमलानी संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस भारत के पूर्व अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने राज्यसभा सांसद और वरिष्ठ अधिवक्ता महेश जेठमलानी के साथ मीडिया को संबोधित किया और कहा कि आरोपों में विश्वसनीय सबूत और विवरण का अभाव है.

मुकुल रोहतगी ने कहा

मुकुल रोहतगी ने कहा, 'मैंने अमेरिकी अदालत द्वारा लगाए गए इस अभियोग को पढ़ा है. मेरा आकलन है कि इसमें पाँच आरोप या पाँच आरोप हैं. यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि 1 और 5 बाकी की तुलना में अधिक महत्वपूर्ण हैं, लेकिन न तो 1 और न ही 5 श्री अडानी या उनके भतीजे पर आरोप लगाते हैं.' उन्होंने आगे बताया कि आरोप मुख्य रूप से कुछ अन्य व्यक्तियों के खिलाफ हैं, न कि अडानी अधिकारियों के खिलाफ.

उन्होंने आगे कहा कि इस तरह के किसी भी अस्पष्ट आरोप के बारे में बोलना आसान नहीं है. वरिष्ठ वकील ने स्पष्ट किया कि ये उनके व्यक्तिगत कानूनी विचार हैं. आगे कहा कि मैं अडानी समूह का प्रवक्ता नहीं हूं. मैं एक वकील हूं और कई मामलों में अडानी समूह की ओर से पेश हुआ हूं. अभियोग की धारा 1 दो अडानी को छोड़कर कुछ अन्य व्यक्तियों के खिलाफ है. इसमें उनके कुछ अधिकारी और एक विदेशी व्यक्ति शामिल हैं.

क्या है पूरा आरोप 

भारत के पूर्व अटॉर्नी जनरल ने कहा, "उनके खिलाफ पहला आरोप अमेरिकी कांग्रेस द्वारा बनाए गए विदेशी भ्रष्ट आचरण अधिनियम का उल्लंघन करने की साजिश का है. इसमें अडानी का नाम नहीं है, उनके अधिकारियों का नाम हो सकता है." उन्होंने आगे कहा, "सिक्योरिटीज और बॉन्ड से जुड़े दो या तीन अन्य मामले भी हैं. इन तीन मामलों में अडानी और अन्य का नाम है...

उन्होंने कहा कि यह एक चार्जशीट है जिसमें आरोप लगाया गया है कि अडानी समेत इन लोगों ने बिजली आपूर्ति और खरीद से जुड़ी भारतीय संस्थाओं में भारतीय अधिकारियों को रिश्वत दी है, लेकिन मुझे चार्जशीट में एक भी नाम या एक भी विवरण नहीं मिला कि किसे रिश्वत दी गई है, उसे कैसे रिश्वत दी गई है और क्या वह अधिकारी किसी विशेष विभाग से संबंधित है. यह चार्जशीट पूरी तरह से चुप है, इसलिए मुझे नहीं पता कि इस तरह की चार्जशीट पर कोई कैसे प्रतिक्रिया दे सकता है.

महेश जेठमलानी ने विपक्षी दलों की आलोचना की

महेश जेठमलानी ने इस मुद्दे का राजनीतिकरण करने के लिए विपक्षी दलों की आलोचना की. उन्होंने कहा कि यह स्पष्ट रूप से एक राजनीतिक उपकरण है. महाराष्ट्र चुनाव में झटका खाने के बाद, कांग्रेस और इंडी गठबंधन ध्यान भटकाने के लिए इसका इस्तेमाल कर रहे हैं.

वे लगातार अडानी और मणिपुर जैसे विदेशी मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करते हैं, जो देश के हित के खिलाफ है. डीओजे की मंशा पर सवाल महेश जेठमलानी ने पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा एजेंसी की आलोचना का हवाला देते हुए डीओजे की कार्रवाई के समय और इरादे पर भी सवाल उठाया.