चुनाव से पहले ममता बनर्जी सरकार ने किया बजट पेश, भत्ते में 4 फीसदी की बढ़ोतरी, जानें पूरी खबर

पश्चिम बंगाल की वित्त मंत्री चंद्रिमा भट्टाचार्य ने बुधवार को 2025-26 के लिए 3.89 लाख करोड़ रुपये का बजट पेश किया. इस बजट में विशेष रूप से सामाजिक कल्याण और विकास पर जोर दिया गया है. इसके साथ ही, राज्य सरकार के कर्मचारियों के लिए महंगाई भत्ते (डीए) में चार प्रतिशत की बढ़ोतरी की घोषणा भी की गई है.

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Courtesy: social media

West Bengal budget : पश्चिम बंगाल की वित्त मंत्री चंद्रिमा भट्टाचार्य ने बुधवार को 2025-26 के लिए 3.89 लाख करोड़ रुपये का बजट पेश किया. इस बजट में विशेष रूप से सामाजिक कल्याण और विकास पर जोर दिया गया है. इसके साथ ही, राज्य सरकार के कर्मचारियों के लिए महंगाई भत्ते (डीए) में चार प्रतिशत की बढ़ोतरी की घोषणा भी की गई है.

बजट में प्रमुख घोषणाएं

चंद्रिमा भट्टाचार्य ने अपने बजट भाषण में कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं, जिनका उद्देश्य राज्य के विकास और कल्याण को बढ़ावा देना है. इन घोषणाओं में बुनियादी ढांचे और कृषि क्षेत्र के विकास को प्राथमिकता दी गई है. 

डीए में बढ़ोतरी: राज्य सरकार के कर्मचारियों को बड़ी राहत देते हुए, महंगाई भत्ते में चार प्रतिशत की बढ़ोतरी की गई है, जो कर्मचारियों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है.

सामाजिक कल्याण योजनाओं का विस्तार: बजट में राज्य के नागरिकों के सामाजिक कल्याण के लिए कई योजनाओं को प्रोत्साहित किया गया है, ताकि वंचित वर्गों तक सरकारी सहायता पहुंच सके.

 बुनियादी ढांचे और कृषि विकास पर जोर

भट्टाचार्य ने बजट में बुनियादी ढांचे और कृषि क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण धनराशि आवंटित की है. इसमें ग्रामीण संपर्क, नदी कटाव नियंत्रण, और कृषि सहायता पहलों के लिए विशेष फंड की घोषणा की गई है. इन पहलों के माध्यम से सरकार का लक्ष्य ग्रामीण क्षेत्रों में विकास को तेज करना और किसानों को अधिक सहायता प्रदान करना है.

यह बजट ऐसे समय में पेश किया गया है जब राज्य में आगामी विधानसभा चुनावों की हलचल बढ़ चुकी है. इस बजट में ममता बनर्जी सरकार ने अपनी राजनीतिक छवि को मजबूत करने और राज्य के विकास के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दिखाने का प्रयास किया है.

पश्चिम बंगाल सरकार का यह बजट राज्य के विकास और सामाजिक कल्याण पर केंद्रित है. महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी और बुनियादी ढांचे के लिए धनराशि का आवंटन राज्य के विकास के दृष्टिकोण को दर्शाता है. अब यह देखना होगा कि आगामी चुनावों में इस बजट की योजनाएं कितना असर डालती हैं.