Air Pollution Health Effects: भारत में हर रोज़ लाखों लोग प्रदूषण की वजह से मरते हैं. ऐसे में लोग इससे बचने के लिए कई तरह के उपाय कर रहे हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसका असर सिर्फ़ फेफड़ों पर ही नहीं बल्कि शरीर के दूसरे अंगों पर भी पड़ता है. आइए जानते हैं कि यह कैसे मौत का कारण बनता है. प्रदूषण का असर सिर्फ़ फेफड़ों तक ही सीमित नहीं है.
हवा में मौजूद हानिकारक कण और गैसें शरीर के कई अहम अंगों पर भी गंभीर असर डाल सकती हैं, जिससे कई गंभीर बीमारियों का ख़तरा बढ़ जाता है. हाल ही में हुए शोध बताते हैं कि प्रदूषण दिल, दिमाग, किडनी और यहां तक कि प्रजनन तंत्र को भी नुकसान पहुंचा सकता है.
कैसे करता है शरीर के अलग-अलग अंगों को प्रभावित
1. फेफड़े: प्रदूषण में मौजूद पीएम 2.5 और अन्य सूक्ष्म कण सांस के जरिए फेफड़ों में प्रवेश कर जाते हैं. इससे अस्थमा, ब्रोंकाइटिस और यहां तक कि फेफड़ों के कैंसर का खतरा भी बढ़ जाता है.
2. हृदय: प्रदूषण से हृदय पर दबाव बढ़ता है, जिससे हृदय की मांसपेशियों में सूजन आ सकती है. हानिकारक गैसें रक्त धमनियों में रुकावट पैदा कर सकती हैं, जिससे हार्ट अटैक और स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है.
3. मस्तिष्क: प्रदूषण में मौजूद विषाक्त तत्व मस्तिष्क में सूजन और ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस का कारण बन सकते हैं, जो मानसिक स्वास्थ्य और तंत्रिका तंत्र पर बुरा असर डालते हैं. इससे स्मृति क्षरण और अल्जाइमर जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है.
4. किडनी: प्रदूषित कणों के संपर्क में आने से रक्त में विषाक्त तत्व बढ़ सकते हैं, जो धीरे-धीरे किडनी को प्रभावित करते हैं और किडनी की कार्यक्षमता को कमजोर कर सकते हैं.
5. प्रजनन प्रणाली: हाल के अध्ययनों से यह बात सामने आई है कि प्रदूषण का असर महिलाओं और पुरुषों दोनों की प्रजनन प्रणाली पर पड़ सकता है. प्रदूषित वातावरण में अधिक समय बिताने से महिलाओं में बांझपन का खतरा बढ़ता है और पुरुषों में शुक्राणुओं की गुणवत्ता कम हो सकती है.
मौत का कारण कैसे बनता है प्रदूषण
प्रदूषण से होने वाली बीमारियाँ धीरे-धीरे शरीर की कार्यक्षमता को कमजोर करती हैं. जब शरीर के महत्वपूर्ण अंग लंबे समय तक प्रदूषण के संपर्क में रहते हैं, तो वे अपना कार्य ठीक से नहीं कर पाते, जिससे व्यक्ति की प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, वायु प्रदूषण के कारण हर साल लाखों लोग समय से पहले मौत का शिकार हो जाते हैं.
प्रदूषण से बचाव के उपाय
प्रदूषण का खतरा केवल फेफड़ों तक सीमित नहीं है, बल्कि यह शरीर के कई अंगों पर गंभीर प्रभाव डाल सकता है. ऐसे में जरूरी है कि लोग प्रदूषण के प्रभाव से बचने के लिए हर संभव प्रयास करें और स्वच्छ हवा में सांस लेने के महत्व को समझें.